लोकसभा चुनाव के नतीजों के आने के बाद से भाजपा प्रदेश में हार का कारण पता लगाने के लिए लगातार प्रयास कर रही है। ऐसे में उत्तर प्रदेश का सियासी पारा चढ़ा हुआ है। दरअसल प्रदेश में इन दिनों सियासी रार मची हुई है। जिसे लेकर अटकलों का बाजार गर्म है। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ द्वारा बुलाई गई बैठक में उप मुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्या फिर नहीं पहुंचे। जबकि वह सीएम आवास के बगल में ही स्थित अपने सरकारी आवास पर रहे और कई पूर्व व वर्तमान मंत्रियों से मुलाकात की । केशव के बैठक में नहीं पहुंचने को लेकर प्रदेश की सियासत गरमा गई है।
दरअसल मुख्यमंत्री मंडलवार भाजपा और सहयोगी दलों के जनप्रतिनिधियों के साथ बैठक कर लोकसभा चुनाव के हार की समीक्षा कर रहे हैं। इसी कड़ी में मुख्यमंत्री ने मेरठ और प्रयागराज मंडल की बैठक बुलाई थी। प्रयागराज मंडल की बैठक में भाजपा के साथ अपना दल (एस) के विधायक भी पहुंचे थे, लेकिन उप मुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्या नहीं पहुंचे, जबकि वह लखनऊ में ही थे। बैठक में पूर्व मंत्री सिद्धार्थनाथ सिंह, नंद गोपाल गुप्ता उर्फ नंदी समेत सभी विधायक पहुंचे थे। मुख्यमंत्री ने सभी विधायकों से विधानसभावार लोकसभा चुनाव के परिणामों को लेकर चर्चा की और हार के कारणों की जानकारी ली। ऐसे में अब एक बार फिर इसे लेकर अटकलों का बाजार गर्म हो गया है।